एमबीबीएस छात्र रोहन बांधेकर मौत के दोषियों पर हो कार्रवाई_सर्व रविदासिया समाज
रायपुर। रायपुर के पंडित जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज में सेकेंड ईयर MBBS का छात्र रोहन बांधेकर की 19 जुलाई की रात्रि मेडिकल कॉलेज के लापरवाह डॉक्टरों की वजह से मेजर हार्ट अटैक से मौत हो गई। मेडिकल लाइन में इसे हार्ट अटैक कहा जा रहा है लेकिन हमारा मानना है कि *रोहन बांधेकर की मौत हार्ट अटैक नहीं है। ये ड्यूटी पर तैनात लापरवाह डॉक्टरों द्वारा की गई हत्या है। रोहन बांधेकर की मौत के जिम्मेदार वे डॉक्टर ही है । दुर्भाग्य है छत्तीसगढ़ प्रदेश का जहां एक डॉक्टर की दूसरे डॉक्टर ने समय रहते इलाज नहीं किया जिसकी वजह से छत्तीसगढ़ की जनता ने भविष्य के एक डॉक्टर को खो दिया है और छत्तीसगढ़ रविदास समाज के लोगों का मान बढ़ाने वाला होनहार नवजवान को बेरहम डॉक्टरों की वजह से खो दिया है।
छत्तीसगढ़ में 18 से 20 लाख की जनसंख्या में निवास करने वाले रविदास समाज के लोग इस घटना से व्यथित हैं। हम छत्तीसगढ़ की सरकार से सवाल पूछना चाहते हैं कि क्या इसी तरह आप इस राज्य के होनहार युवाओं का भविष्य गड़ना चाह रहे हैं। क्या छत्तीसगढ़ की सरकार रविदास समाज, दलित समाज के परिवारों के साथ ऐसे अत्याचार करने वालों पर चुप्पी साधे रहेगी। राज्य सरकार अगर रोहन बांधेकर के हत्यारे लापरवाह डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करती है तो हम 18 से 20 लाख की जनसंख्या वाले रविदास समाज के लोग सड़क की लड़ाई लड़ने के लिए मजबूर हो जाएंगे।
*आप सभी ने समाचार पत्रों के माध्यम से जाना होगा कि रोहन बांधेकर की मौत कैसे हो गई थी। समय पर अगर ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर सही इलाज करते तो हमारा चिराग जलने से पहले बुझता नहीं।*
आप सभी मीडिया के बंधुओं के माध्यम से हम छत्तीसगढ़ की राज्य सरकार से मांग करते हैं कि रोहन बांधेकर की मौत की जांच उच्च स्तर की स्वतंत्र जांच एजेंसी से कराई जाए। हालांकि इस जांच की आवश्यकता बिल्कुल भी नहीं है क्योंकि मेडिकल पेशे से जुड़े डॉक्टरों ने दैनिक समाचार पत्रों में अपना अभिमत स्पष्ट रूप से देते हुए कहा कि ड्यूटी पर तैनात डॉक्टरों ने समय पर उचित इलाज नहीं किया जिसकी वजह से रोहन बांधेकर की मौत हुई है। फिर भी अगर छत्तीसगढ़ की सरकार को जांच आवश्यक लगती है तो कराए और दोषियों पर सख्त कार्रवाई कर छत्तीसगढ़ की जनता के भरोसे को कायम रखे।
*इसके साथ हम छत्तीसगढ़ की राज्य सरकार से रोहन बांधेकर की अप्राकृतिक मौत पर उनके परिजनों को एक करोड़ का मुआवजा राज्य सरकार स्वयं दें या उन मुफ्त खोर डॉक्टरों की संपत्ति कुर्क कर दें।* क्योंकि रोहन बांधेकर की मौत के लिए कहीं ना कहीं छत्तीसगढ़ की राज्य सरकार भी दोषी है। शासन की लचर व्यवस्था के चलते छत्तीसगढ़ के सरकारी डॉक्टरों ने इस पेशे को मजाक बनाते हुए आम जनता के जीवन से लगातार खिलवाड़ कर रहे हैं।
रोहन बांधेकर की अप्राकृतिक मौत के लिए छत्तीसग़ढ के पूरे रविदास समाज अपने अपने जिले में कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर न्याय की मांग करेगी, और *निश्चित समय के भीतर न्याय नहीं मिलती है तो छत्तीसगढ़ सर्व रविदास समाज आगामी दिनों में पूरे प्रदेश भर में आंदोलन करने को बाध्य होगी जिसकी पूरी जिम्मेदारी छत्तीसगढ़ की राज्य सरकार की होगी।
प्रेसवार्ता लेने वालों में प्रोफेसर के एल खांडेकर, धर्मेंद्र चौरे बलराम कोलते, नंदू राम रेडकर, के एल चौधरी, काशीराम पनागर रामेश्वर राठौड़ कोमल बांदेकर रोहन बांदेकर के पिता कुमार राम खरे पंडरिया और कवर्धा क्षेत्र के ग्रामीण सामाजिकगण उपस्थित थे।